Thursday, October 19, 2023

जंग जितने वाले इतिहास लिखते है । पर जंग में बच ने वाले संस्कृति/ तकनीक बचाते है।

 भारतीय सनातन धर्म मैं युद्ध को भी कला माना जाता था ।

ये जो अब्राहमिक मजहब , पंथ है उसके अनुसार जंग जितने के अत्याचार करके किसीको नीचा दिखाने के लिए को जाती है।

ये जितने भी प्रकार के डिस्क्रिमिनेशन है वो सभी इन्ही अब्राहमिक मजहबी लोगो के चोचले हैं।

तो बात होती है तकनीकी की । यहूदी , हिंदू वो लोग है जो तकनीक सांझा करने की बात करते है छीनना कोई और ही सिखाता है ।

इसीलिए भारत और इसराइल ने जर्मनी, रूस , जापान , इनसे तकनीकी शेयर करली और आज भी ऑटोमोबाइल , ट्रांसपोर्टेशन, इनमे हमारा योगदान रहा है।

यूएस ने इलेक्ट्रोनिक तकनीक सिर्फ तैवान,चीन,जपान से आगे नाही जाणे दिया और आज रिझल्ट सामने है ।

हम तकनीक को बचाए तो कैसे क्योंकि जो अभी लीडर है वो ही कभी चोर थे । वो सिर्फ बेच के कमाना जानते है । त्याग और समर्थन , सेवा उनके मन मैं है ही नही।

फिर एक बार कहेंगे । जंग कोई भी जीते हमारी संस्कृति और तकनीक बची रहनी चाहिए।

हमारी पुरखो ने कभी मन्दिर की मूर्तियां अक्रांतो से बचाई थी। क्यू की वो जानते थे आदर्श रखने से वंश को ज्ञान रहता है की ये मार्ग ही उत्तरजीविता, और समय के साथ बदलाव जारी रखता है। 


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